आज हम आपको मासिक धर्म के बारे में जानकारी देंगे
मासिक धर्म क्या है
एक युवा स्त्री को महीने में प्राकृतिक तौर पर योनि से जो रक्त स्राव होता है वह मासिक धर्म कहलाता है.
मासिक धर्म जिसे समान्य तौर पर पीरियड्स कहा जाता है और अंग्रेजी में इसे मेंस्ट्रुअल साइकल बोलते है हर महिला को मासिक धर्म ३ से ७ दिनों तक चलता है. महिला जब तक ग़र्भवती न हो जाए उसे जब तक मासिक धर्म नहीं होता है उस महिला की डिलीवरी होने के बाद मासिक धर्म होना शुरू हो जाते हैं हर महीने मासिक धर्म होता है क्योकि इसी समय आपके शरीर से खून निकलता है जब आपका गर्भाश्य रक्त झिल्ली की एक ताज़ा परत बनाता है
जब आपके एक अण्डाशय से अण्डा निकलता है और आपकेगर्भाश्य तक पहुंचता है. अण्डे को आपके गर्भाश्य तक पहुंचने के दौरान उसे एक शुक्राणु स्पर्म मिलता है तो आप ग़र्भवती हो जाती हैं. फेलोपियन ट्यूब में अंडा रुक जाता है और अगर १२ से ७ दिन अंडा फेलोपियन ट्यूब में ही रहा तो ख़राब हो जाता है तो २८ दिन वही अंडा झिल्ली की साथ फटकर मासिक धर्म के दौरान योनि से निकले खून की साथ बहार आ जाता है
जब आपका मसिक धर्म शुरू होता हैं तो आपको ३ से ७ दिनों तक खून बहता हैं लेकिन आप चिंता न करें केवल आपके शरीर से २० से ६० मिली लीटर खून बहेगा तो
पीरियड्स में क्या नहीं करना चाहिए
कुछ महिलाओ को तो मासिक धर्म में बहुत परेशानी होती हैं कुछ महिलाओं को मासिक धर्म के समय बहुत दर्द होता हैं मासिक धर्म के दिनों में हर महिला या लड़की मासिक धर्म में बेचैन रहती है. मासिक धर्म के समय महिलाओ के शरीर में कई तरह के हार्मोन बदलाव होते रहते है. ऐसे में अपने खानपान के साथ दूसरी बातो का भी ध्यान रखना चाहिए .
असुरक्षित संबंध न बनाए
अक्सर महिलाएं मासिक धर्म के दौरान सेक्स करती है और उनका कहना यह है कि मासिक धर्म में सेक्स करने से प्रेगनेंसी नहीं होगी. मासिक धर्म में आप ग़र्भवती हो सकती हैं. मासिक धर्म में भी प्रेगनेंसी की संभावना बनी रहती है और इसके साथ ही किसी तरह के इंफेक्शन से बचने के लिए भी इस दौरान संबंध बनाने से बचना चाहिए.
पीरियड्स कितने दिन के बाद होते है
लड़कियों को १३ वर्ष की उम्र में मासिक धर्म आना शुरू होता है महिलाओं को हर महीने एक बार पीरियड्स होने कि संभावना रहती है महिलाओं और लड़कीयों को हर महीने पीरियड्स होते है पीरियड्स ३ से ७ दिन तक होते है पीरियड्स में खून निकलने कि मात्रा हर दिन अलग-अलग होती है. आमतौर पर शुरूआती पीरियड्स में सबसे अधिक खून निकलता है और आखरी दिन सबसे कम खून निकलता है.
पीरियड्स नहीं होने पर क्या करें
अगर लड़की की उम्र १५ से १६ साल की हो गई है और उसको पीरियड्स नहीं हो रहे हैं या फिर लड़की को एक या दो बार पीरियड्स होकर आना बंद हो गाएं हो तो तुरंत डॉक्टर के पास जाए यह एक गंभीर समस्या हो सकती है जिससे लड़की को माँ बनने में परेशानी आती है. यह समस्या ज़्यादातर शरीर में हार्मोनल खून की कमी और शरीर में कमज़ोरी की वजह से पीरियड्स में परेशानी होती है
पीरियड्स में परेशानी
महिलाओं को पीरियड्स होना बहुत ज़रूरी है. जिससे लड़कियों को माँ बनने में कोई परेशानी नहीं होती है लेकिन कुछ महिलाओ को पीरियड्स में बहुत तेज़ दर्द होता है जिसकी वजह से वो सही से चल भी नहीं पाती हैं या फिर आपको पीरियड्स होने में परेशानी हो रही हो तो आपको तुरंत इसकी जाँच करवानी चाहिए.डॉक्टर से
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